बुधवार, 16 मार्च 2022

क्या बतौन तुम को मई के हाल कैसा है........

 



क्या बतौन तुम को मई के हाल कैसा है

इस खुशरांग मोसां मे मलाल कैसा है

नब्ज़ आशना जानता है धड़कानों की लाए

हेर एहसास हैरान है वो कमाल कैसा है

रुकती हुई साँसों को वो रुकने नही देता

अपनी आँखें माल्टा हुआ ये विसाल कैसा है

दूं तोड़ती उम्मीद के मोक़ाबिल याद है उसकी

गर मोहबत ईमान है तो सवाल कैसा है

तलब की जूसतजू गर ज़ाया करड़ेगी हासिल को

फिर खुदा बंदे का रिश्ता लाज़वाल कैसा है

सदा इन ख़यालों से गोया है तेरी खामोशी

एक रिश्ता उनसुना है पेर बेमिसाल कैसा है

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